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बांग्‍लादेश और पाकिस्‍तान में Starlink को मिला अप्रूवल, भारत में नहीं मिली अनुमति

नई दिल्ली

सैटेलाइट इंटरनेट के लिए एलन मस्‍क की कंपनी स्‍टारलिंक को भारत में अप्रूवल मिलना बाकी है, लेकिन दुनिया के कई देश मंजूरी देते जा रहे हैं। भारत के पड़ोसी पाकिस्‍तान और बांग्‍लोदश स्‍टारलिंक को अपने यहां सैटेलाइट इंटरनेट सेवाएं शुरू करने का अप्रूवल दे चुके हैं। अब कंपनी को सोमालिया में भी काम करने का लाइसेंस मिल गया है। वही सोमालिया जहां बड़ी संख्‍या में समुद्री लुटेरे रहते हैं, जो समुद्र से गुजरने वाले शिप्‍स को निशाना बनाते हैं। सोशल मीडिया प्‍लेटफॉर्म एक्‍स पर एलन मस्‍क ने यह जानकारी शेयर की है। गौरतलब है कि कंपनी अफ्रीकी मार्केट में अपनी पैठ बढ़ाती जा रही है।

अफ्रीकी देशों की लिस्‍ट में अब सोमालिया भी
स्‍टारलिंक की सेवाएं अफ्रीका के कई देशों में चल रही हैं। अब इस लिस्‍ट में सोमालिया का नाम जुड़ गया है। कहा जा रहा है कि सोमालिया में सैटेलाइट इंटरनेट शुरू होने से वहां के लोगों को बिजनेसमैन को फायदा होगा। हालांकि इसके लिए लोगों को कितनी रकम खर्च करनी होगी, यह जानकारी अभी नहीं है। गौरतलब है कि सोमालिया की गिनती गरीब देशों में होती है और स्‍टारलिंक की सेवाएं काफी खर्चीली मानी जाती हैं। क्‍या कंपनी वहां के लोगों के लिए सस्‍ता प्‍लान लेकर आएगी, यह देखने वाली बात होगी।

भारत में जियो-एयरटेल कर चुके हैं पार्टनरशिप
भारत में सैटेलाइट इंटरनेट सेवाएं शुरू करने के लिए जियो और एयरटेल ने स्‍टारलिंक के साथ साझेदारी कर ली है। कहा जाता है कि दोनों बड़ी टेलिकॉम कंपनियां स्‍टारलिंक के प्रोडक्‍ट्स को अपने स्‍टोर्स पर बेचेंगी। लेकिन भारत में अभी यह सर्विस कमर्शल रूप से शुरू नहीं हो पाई है। भारत सरकार सुरक्षा संबंधी पहलुओं को निपटाना चाहती है और आश्‍वस्‍त होना चाहती है कि स्‍टारलिंक अपनी सेवाएं पूरी तरह देश से ही ऑपरेट करे। यही वजह है कि हमारे यहां सैटेलाइट इंटरनेट सेवाएं शुरू होने में वक्‍त लग रहा है।

बांग्‍लोदश और पाकिस्‍तान भी स्‍टारलिंक को अपने यहां सैटेलाइट इंटरनेट सेवाएं शुरू करने के लिए अनुमति दे चुके हैं। हालांकि दिलचस्‍प बात है कि पाकिस्‍तान ने एलन मस्‍क के एक्‍स को अपने यहां बैन किया हुआ है। इस पर वहां का हाई कोर्ट तक सरकार को कटघरे में खड़ा कर चुका है। स्‍टारलिंक की सेवाएं शुरू होने से तमाम देशों में उन इलाकों तक भी हाईस्‍पीड इंटरनेट उपलब्‍ध होगा, जहां अभी तक फाइबर सेवाएं नहीं पहुंच सकी हैं।

इस साल सर्विस शुरू होने की उम्‍मीद
विभिन्‍न एक्‍सपर्ट ने स्‍टारलिंक की सेवाएं भारत में इस साल शुरू होने की उम्‍मीद जताई है। हालांकि यह सब स्‍पेक्‍ट्रम वितरण पर निर्भर करेगा। अगर इसमें देरी हुई तो सैटेलाइट इंटरनेट सेवाओं में देर हो सकती है।

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